Dhondo keshav karve biography in hindi
Dhondo keshav karve biography in hindi
Dhondo keshav karve biography in hindi movie!
देश-विदेश घूमकर किया चंदा इकट्ठा और शुरू कर दी देश की पहली महिला यूनिवर्सिटी!
साल 1916 में कर्वे ने केवल 5 छात्राओं के साथ जो एस.एन.डी.टी. महिला विश्वविद्यालय शुरू किया था, आज उसमें 70 हज़ार से भी ज़्यादा छात्राएं पढ़ती हैं!
कहते हैं कि अंधेरे को कोसने की बजाय, हमें एक दिया जलाने की कोशिश करनी चाहिए और ऐसा ही कुछ भारत रत्न से सम्मानित समाज सुधारक धोंडो केशव कर्वे ने किया। उन्होंने अपना पूरा जीवन भारत में महिला उत्थान के लिए समर्पित कर दिया।
जिस जमाने में महिलाओं को चारदीवारी में भी घूँघट के पीछे रखा जाता था, उस जमाने में कर्वे ने अपने कार्यों से महिलाओं को न सिर्फ़ घूँघट से बल्कि घर की दहलीज से भी बाहर निकालकर, पुरुषों के साथ कंधे से कंधा मिला कर चलने का हौसला दिया।
शुरूआती जीवन:
18 अप्रैल 1858 को महाराष्ट्र के रत्नागिरी जिले के शेरावली में जन्मे और मरुड कस्बे में पले-बढ़े केशव कर्वे के मन में आत्मसम्मान और स्वाभिमान के बीज उनकी माँ ने रोपे थे। भले ही उनके घर की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं थी, लेकिन उनकी माँ कभी भी उन्हें किसी से कोई दान-दक्षिणा नहीं लेने देती थीं। अपनी माँ